किसी भी पत्रिका में फ़लित की शुरुआत कैसे करें ?
- सबसे पहले पत्रिका बनने पर लग्न चार्ट को देखे , उसमे वैदिक ज्योतिष के 60 सूत्र लगाये जितने भी मिले ।
- सामने वाले के प्रश्न को ध्यान से सुने फिर जिस भाव से भी सम्बंधित प्रश्न हो उस भाव के उपनक्षत्र स्वामी अर्थात सबलोर्ड के सूचक , सूचक टेबल से लेवे , जैसे विवाह का प्रश्न हो तो 7 वें भाव के उपनक्षत्र स्वामी को 2 / 5 / 7 / 11 में से किसी भी एक भाव का सूचक होना चाहिए यदि 3 , 9 या 5 , 8 हो तो भी विवाह होगा । 7 वें भाव की पोटेंशियल निर्धारित करें ।
- फिर उपरोक्त नियम मिल जाये तब 5 , 7 , 11 के सूचकों को नोट कीजिये यदि सूचको की संख्या 4 से अधिक हो तो करन्ट रूलिंग प्लेनेट्स से उन्हें शॉर्टलिस्ट कीजिये ।
- फिर दशा फिक्स कीजिये , यदि दशास्वामी सूचको में नही हो तो उसके स्टारलोर्ड , सबलोर्ड को नोट करें ,इसे विचारणीय भाव के लिए पाजेटिव या न्यूट्रल होना चाहिये ।
- इसी प्रकार भुक्ति और दशास्वामी को भी सूचकों से फिक्स कीजिये ।
- अब गोचर में देखे , सूर्य का गोचर , सूर्य को सूचक ग्रहों में से किसी का नक्षत्र स्वामी बनना चाहिये , फिर सूचको को एक दूसरे के नक्षत्र में या उपनक्षत्र में आना चाहिए ।
- पहले धीमी गति के ग्रहों ( शनि , राहू , केतू , गुरु ) का गोचर देखे फिर अन्य सूचक ग्रहों का गोचर ।